Tuesday, April 27, 2021
चुनाव आयोग की कार्य प्रणाली पर उठ रहा सवाल
अनूपपुर -आमीन वारसी - कहते है चुनाव आयोग निर्वाचन आयोग नाम की संस्था स्वतंत्र है जो सिर्फ उच्चतम न्यायालय व भारतीय राष्टपति के उत्तरदायी है चुनाव आयोग निर्वाचन आयोग का कार्य स्वतंत्र व निष्पक्ष रूप से बिना किसी दबाव बिना किसी डर व भय के भारत देश में होने राज्य सभा लोक सभा विधानसभा नगरीय निकाय पंचायत चुनाव सहित अन्य चुनाव कराना होता है लेकिन आप सभी यह देख रहें है कि बीते कुछ सालों में भारत निर्वाचन आयोग अपने दायित्वों को भूल चुका है अपने कार्य के प्रति कितना लापरवाह हो चुका है चुनाव आयोग की कार्य प्रणाली पर सैकड़ों बार सवाल उठाए जा चुके है लेकिन चुनाव आयोग को ज़रा भी शर्म नही आती।बीते कुछ सालों में देश प्रदेश में छोटे बड़े कई चुनाव कराए गए है लेकिन चुनाव आयोग निष्पक्ष चुनाव न कराते हुए सत्ताधारी पार्टी के इशारे पर कठपुतली की तरह नाचता हुआ दिखाई पड़ रहा इसके सैकड़ों प्रमाण है।अभी हाल ही में हुए 5 राज्य के विधानसभा चुनाव सहित मध्यप्रदेश दमोह उपचुनाव में चुनाव आयोग की करतूत आसानी से देखी जा सकती है एक ओर पूरे भारत में कोरोना वायरस अपना पैर पसार चुका है प्रति दिन लाखों लोग कोरोना वायरस से संक्रमित मिल रहें हजारों लोग कोरोना वायरस की चपेट में आकर अपनी जान गवां चुके दूसरी ओर चुनाव आयोग पूरी तरह बेफिक्र होकर सत्ता पंक्ष के काँधे से कांधा मिलाकर चुनावी राज्यो में लाखों लोगों की भीड़ एकत्रित करवाकर चुनावी जन सभाएं रैलियां करने सहित शाम दाम दंड भेद मतदाताओं को लुभाने रिझाने के लिए करोड़ों रुपये बांटने के साथ ही वोटिंग मशीनों में हेराफेरी कराना नेता मंत्रियों की गाड़ी में करोड़ों रूपये मिलना ईवीएम मशीन मिलना यह साबित करता है कि भारत निर्वाचन आयोग अपने कार्य के प्रति कितना सजग है पकड़े गए नेता मंत्रियों पर किसी भी प्रकार की चुनाव आयोग द्वारा कार्यवाही नही की गई।आज चुनावी राज्यो में हालात यह है कि हर दूसरा व्यक्ति कोरोना वायरस से संक्रमित मिल रहा और चुनाव समाप्त हो गया अब सिर्फ मतगणना होना शेष है वही मद्रास के उच्च न्यायालय ने निर्वाचन आयोग को फटकार लगाते हुए चुनाव आयोग की लापरवाही के कारण कोरोना वायरस फैला है जिसका जिम्मेदार चुनाव आयोग है साथ ही चुनाव आयोग के अधिकारी कर्मचारी पर हत्या का मुकदमा दर्ज करने की भी बात कही तो आनन-फानन में चुनाव आयोग द्वारा मतगणना के बाद विजयी प्रत्याशियों को जश्न व जुलूस निकालने पर पाबंदी लगा दी है।पाबंदी लगाने से जनता का क्या फायदा चुनावी राज्य की आम जनता तो पूरी तरह कोरोना वायरस की चपेट में आ चुकी है चुनाव आयोग ने भले ही जीत के जश्न व जुलूस निकालने पर पाबंदी लगा दी हो लेकिन पूरे देश में प्रति दिन शव यात्रा निकल रही जिसे कोई भी नही रोक पा रहा अब तो भारत देश की जनता का भगवान ही मालिक है।
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment